अब मुझमें हिम्मत नहीं थी किनारों तक पहुंच पाएंगे लग रहा था कश्ती डूब जाएगी आंखें भिगो चुकी थी मेरे चेहरे को चारों तरफ पानी पानी था उसे हम खुदा का चमत्कार कहते हैं जो सही वक्त पर आकर मुझे बचा लिया
हिंदी शायरी संग्रह मस्ती मनोरंजन
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